भूकंप: काबुल से दिल्ली तक हिली धरती, अफ़ग़ानिस्तान में 622 लोगों की मौत - 1,500 से ज़्यादा घायल
अफगानिस्तान भूकंप: काबुल से दिल्ली तक महसूस हुए झटके, तबाही में 622 की मौत
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली।
अफ़ग़ानिस्तान में सोमवार देर रात आए भूकंप ने तबाही मचा दी। रिक्टर पैमाने पर 6.0 तीव्रता का यह भूकंप देश के पूर्वी हिस्से, खासकर नंगरहार और कुनार प्रांतों में दर्ज किया गया। झटके इतने तेज़ थे कि मिट्टी और पत्थर से बने घर पलक झपकते ही ढह गए।
तालिबान प्रशासन ने पुष्टि की है कि इस आपदा में कम से कम 622 लोग मारे गए हैं और 1,500 से ज़्यादा घायल हुए हैं। अस्पतालों में बिस्तरों की कमी हो रही है और कई घायलों को हेलीकॉप्टर से काबुल समेत दूसरे शहरों में भेजा जा रहा है।
हाइलाइट
- अफ़ग़ानिस्तान के दक्षिण-पूर्वी हिस्से में शक्तिशाली भूकंप।
- 622 लोगों की मौत, 1,500 से ज़्यादा घायल।
- पाकिस्तान और भारत (दिल्ली-एनसीआर) तक भूकंप के झटके महसूस किए गए।
- कई गाँव पूरी तरह मलबे में तब्दील हो गए।
कुनार प्रांत में सबसे ज़्यादा तबाही हुई है, जहाँ नूर गुल, सोकी, वतपुर, मनोगी और चापादारे ज़िलों के कई गाँव पूरी तरह खंडहर में तब्दील हो गए हैं। राहत और बचाव कार्य जारी है, लेकिन अभी भी कई लोगों के मलबे में दबे होने की आशंका है।
पाकिस्तान और भारत में भी असर
भूकंप का असर सिर्फ़ अफ़ग़ानिस्तान तक ही सीमित नहीं रहा। पाकिस्तान के इस्लामाबाद और पेशावर में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए, जबकि भारत के दिल्ली-एनसीआर में भी लोगों ने रात में भूकंप के झटके महसूस किए। लोग दहशत में अपने घरों से बाहर निकल आए।
राहत और अंतर्राष्ट्रीय प्रतिक्रिया
तालिबान सरकार ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से मदद की अपील की है। अफ़ग़ान रेड क्रिसेंट और स्थानीय स्वास्थ्य दल राहत कार्य में लगे हुए हैं। अभी तक, बाहरी देशों द्वारा किसी औपचारिक सहायता की घोषणा नहीं की गई है, हालाँकि संयुक्त राष्ट्र और मानव संसाधन संगठनों ने कहा है कि उन्होंने मदद की घोषणा की है।
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